इस 1 मंत्र के जाप से मिलेगा पूरी रामायण पढ़ने का सौभाग्‍य, दूर होंगी सभी परेशानियां

व्‍यस्‍त जीवनशैली में मनुष्‍य के पास पूजा पाठ का भी समय नहीं है, ऐसे में राम चरित मानस और गीता जैसी धार्मिक पुस्‍तकों का पाठ भला कोई कैसे करें । आपकी समस्‍या का हल है, जानें एक मंत्र जिसमें पूरी रामायण समाई है ।

New Delhi, Jan 27:  : भगवान श्रीराम को मर्यादापुरुषोत्‍तम कहा गया है । इसके पीछे कारण है उनका मावन रूप में होकर ऐसे कार्य करना जो किसी भी मनुष्‍य के लिए आसान नहीं । श्री राम से संबंधित ग्रंथों में महर्षि वाल्मीकि द्वारा लिखी गई रामायण को सबसे सटीक माना गया है । गोस्वामी तुलसीदासजी द्वारा रचित श्रीरामचरित मानस वर्तमान में सबसे ज्यादा प्रचलित है । इन दोनों का ही पठन करने से पापों से मुक्ति मिल जाती है । इस व्यस्त जीवन शैली में लोगों के पास इतना समय ही नहीं कि वो रामायण या रामचरित मानस का पाठ कर सकें।

एक मंत्र से होगा बेडा पार
क्या आप जानते हैं पूरी रामायण का पाठ किए बिना भी आप इसका संपूर्ण फल प्राप्‍त कर सकते हें । सिर्फ एक मंत्र का विधि विधान से जाप करने से संपूर्ण रामायण का फल मिल सकता है। इस मंत्र को एक श्लोकी रामायण कहते हैं। इस मंत्र के जाप से सभी तरह की परेशानियां खत्म हो सकती हैं।

ये मंत्र इस प्रकार है
पूरी रामायण का सार छुपाए इस मंत्र को पढ़ने से आपके सारे मनोरथ सिद्ध होते हैं । आगे जानिए वो मंत्र –
आदि राम तपोवनादि गमनं, हत्वा मृगं कांचनम्।
वैदीहीहरणं जटायुमरणं, सुग्रीव संभाषणम्।।
बालीनिर्दलनं समुद्रतरणं, लंकापुरीदाहनम्।
पश्चाद् रावण कुम्भकर्ण हननम्, एतद्धि रामायणम्।।
मंत्र का भावार्थ
एक बार श्रीराम वनवास में गए। वहां उन्होंने स्वर्ण मृग का पीछा किया और उसका वध किया। इसी दौरान उनकी पत्नी वैदेही (सीता जी) का रावण द्वारा हरण किया गया। उनकी रक्षा करते हुए पक्षीराज जटायु ने अपने प्राण गवाएं।
श्रीराम की मित्रता सुग्रीव से हुई। उन्होंने उसके दुष्ट भाई बालि का वध किया। समुद्र पर पुल बनाकर पार किया। लंकापुरी का दहन हुआ। इसके पश्चात् रावण और कुम्भकरण का वध हुआ। यही पूरी रामायण की संक्षिप्त कहानी है।

मंत्र जाप की संपूर्ण विधि
नहाकर, साफ वस्त्र पहनकर भगवान श्रीराम की पूजाRam करें। कुश के आसन पर बैठकर भगवान के चित्र के सामने आसन लगाकर रुद्राक्ष की माला लेकर रोज 5 माला इस मंत्र का जाप करें। रोज नियत समय पर, एक ही आसन पर बैठकर और एक ही माला से मंत्र जाप किया जाए तो यह मंत्र जल्दी ही सिद्ध हो सकता है।