भूलकर भी इस दिशा में ना बनवाएं दुकान का प्रवेश द्वार, नहीं तो होगी हानि ही हानि

Dukan

वास्तु शास्त्र के नियमों के अनुसार पूर्व या फिर उत्तर दिशा में प्रवेश द्वार शुभ और अच्छा माना जाता है।

New Delhi, Mar 15 : बाजार में अलग-अलग चीजों की अलग-अलग दुकानें होती हैं, सभी दुकानों की अपनी एक अलग पहचान होती है, लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि एक ही मार्केट में दुकान होने के बावजूद किसी दुकान के मालिक पर धन की बारिश होती है, तो कोई नुकसान भरते-भरते ही परेशान रहतका है। दरअसल इन दुकानों पर एक ही वास्तु नियम लागू होता है, आइये आज हम आपको दुकान से संबंधित कुछ वास्तु टिप्स के बारे में बताते हैं।

प्रवेश द्वार
किसी भी दुकान में प्रवेश द्वार ही वो जगह होती है, जिस पर कस्टमर की सबसे पहली नजर पड़ती है। वास्तु शास्त्र के अनुसार दुकान में प्रवेश द्वार के लिये पूरब दिशा, उत्तर दिशा या ईशान कोण का दुकान करना ठीक होता है, Dukan1जबकि पश्चिम या फिर दक्षिण दिशा में दुकान का प्रवेश द्वार कभी नहीं बनवाना चाहिये, इससे व्यापार में परेशानी का सामना करना पड़ता है।

आर्थिक नुकसान
अगर आप वास्तु के नियमों की अनदेखी कर दुकान का प्रवेश द्वार पश्चिम या फिर दक्षिण दिशा में बनवाते हैं, तो फिर आपको व्यापार में लगातार नुकसान का सामना करना पड़ेगा। Dukan2इसलिये अगर आपके दुकान की भी प्रवेश द्वार इस दिशा में है, तो फिर आप वास्तु दोष निवारण के लिये कुछ उपाय कर सकते हैं।

इस दिशा में हो प्रवेश द्वार
वास्तु शास्त्र के नियमों के अनुसार पूर्व या फिर उत्तर दिशा में प्रवेश द्वार शुभ और अच्छा माना जाता है। शास्त्रों के मुताबिक दिशाओं में पूर्व और उत्तर को शुभ माना जाता है, Dukan31यदि आपकी दुकान पूरब मुखी है, तो ये आपके व्यापार के लिये बहुत ही शुभ और लाभ देने वाला होता है। साथ ही अगर दुकान का मुख उत्तर दिशा में है, तो आपकी दुकान के धन-धान्य में बढोत्तरी होगी। आपका नाम पूरे मार्केट में चमकेगा और आपकी प्रतिष्ठा बढेगी।

पश्चिम दिशा में प्रवेश द्वार
प्रवेश द्वार के लिये इन दोनों में से किसी भी दिशा का चयन करना आपके और आपके व्यापार के लिये अच्छा नहीं है, यदि आप पश्चिम दिशा में प्रवेश द्वार बनवाते हैं, Dukan7तो फिर आपका बिजनेस हमेशा डावां-डौल ही रहेगा। ऐसा हो सकता है कि कभी आपका बिजनेस ठीक चले, तो कभी नुकसान उठाना पड़े।

दक्षिण दिशा में प्रवेश द्वार
अगर आप अपने दुकान के लिये दक्षिण दिशा की ओर प्रवेश द्वार बनवाते हैं, तो ये भी आपके बिजनेस के लिये बिल्कुल भी ठीक नहीं हैं।dukan4 शास्त्रों के मुताबिक इस दिशा में प्रवेश द्वार होने से आपका बिजनेस बिल्कुल चींटी की तरह रेंग-रेंग कर आगे बढेगा और आपको पैसों की तंगी हमेशा बनी रहेगी। इसलिये इस दिशा में प्रवेश द्वार बनवाने से बचें।

जूते-चप्पल बाहर उतारे
जब आप अपनी दुकान सुबह खोलने के लिया जाएं, तो सबसे पहले अपने जूते या चप्पल मुख्य द्वार के बाहर ही थोड़ा साइड कर उतार दें, Dukan3फिर दुकान के भीतर प्रवेश करते हुए फर्श को छूते हुए सबसे पहले दुकान के भीतर अपना दायां पैर रखें। इससे हमेशा आपका व्यापार अच्छा चलेगा, आप तरक्की करेंगे। साथ ही आपका मन भी दिन भर प्रसन्न रहेगा।

इस दिशा में बैठना शुभ
इसके अलावा दुकानदार के बैठने की दिशा से भी बिजनेस पर प्रभाव पड़ता है। वास्तु शास्त्र के अनुसार दुकानदार को उत्तर दिशा की तरफ मुख करके बैठना चाहिये। Dukan5आपको बता दें कि उत्तर दिशा धन के देवता कुबेर की दिशा मानी जाती है, अगर आप इस दिशा की तरफ मुख करके बैठेंगे, तो आपके ऊपर कुबेर की कृपा हमेशा बनी रहेगी। आपको कभी भी धन की कमी नहीं होगी।

ऐसी हो दुकान
दुकान या फिर व्यावसायिक प्रतिष्ठान में अगर आगे की ओर कम चौड़ी और पीछे की ओर ज्यादा चौड़ी है, तो इसे गौमुखी दुकान माना जाता है, Dukan6ऐसी दुकानों में धन की आवक कम होती है, यदि दुकान आगे की ओर ज्यादा चौड़ी और पीछे की ओर कम चौड़ी हो, तो उसे सिंहमुखी दुकान कहा जाता है, बिजनेस के लिये ऐसी दुकानें अच्छी मानी जाती है, इसमें धन की आवक खूब होती है।