हलाल मीट वाली बात किसी खिलाड़ी के फीडबैक के आधार पर सामने निकलकर आई होगी, उदाहरण के लिये मान लीजिए, कोई खिलाड़ी कहता है कि वो बीफ नहीं खाता है।
New Delhi, Nov 24 : टीम इंडिया के खिलाड़ियों के खाने में हलाल मीट कथित तौर पर अनिवार्य करने को लेकर विवाद छिड़ गया है, रिपोर्ट्स के अनुसार खिलाड़ियों को बीफ खाने की अनुमति नहीं दी गई है, साथ ही कहा गया है कि अगर किसी को मीट खाना है, तो वो सिर्फ हलाल मीट ही खा सकते हैं, मेन्यू से पोर्क तथा बीफ बाहर रखे गये हैं, इस पूरे विवाद पर बीसीसीआई के कोषाध्यक्ष अरुण धूमल ने स्पष्ट कर दिया है कि खिलाड़ियों के खाने पर किसी तरह की कोई पाबंदी नहीं है, खिलाड़ी जो कुछ भी खाना चाहते हैं, इसे चुनने के लिये स्वतंत्र हैं।
क्या कहा
इंडिया टुडे से बातचीत करते हुए धूमल ने कहा कि खिलाड़ियों से खाने को लेकर कभी चर्चा नहीं हुई है, इस तरह के डाइट प्लान के बारे में कभी नहीं सुना, मुझे नहीं पता कि ये फैसला कब लिया गया है, जहां तक मेरी जानकारी है, हमने कभी भी डाइट प्लान से संबंधित कोई गाइडलाइन जारी नहीं की, जहां तक खान-पान की बात है, तो ये खिलाड़ियों की निजी पसंद है, इसमें बोर्ड की कोई भूमिका नहीं है।
खाने को मिक्स नहीं करना चाहिये
उन्होने ये भी कहा कि हलाल मीट वाली बात किसी खिलाड़ी के फीडबैक के आधार पर सामने निकलकर आई होगी, उदाहरण के लिये मान लीजिए, कोई खिलाड़ी कहता है कि वो बीफ नहीं खाता है, ऐसे में विदेशी टीम आती है, तो खाने को मिक्स नहीं करना चाहिये।
वापस लेने की मांग
आपको बता दें कि इस विवाद के पैदा होने के बाद बीजेपी प्रवक्ता तथा सुप्रीम कोर्ट के वकील गौरव भाटिया ने बीसीसीआई से इस सिफारिश को तुरंत वापस लेने की मांग की थी, अपने ट्विटर हैंडल पर वीडियो जारी करते हुए कहा था खिलाड़ी कुछ भी खाना चाहते हैं, वो खाएं, ये उनकी मर्जी है, लेकिन बीसीसीआई को ये अधिकार किसने दिया है, वह हलाल मांस की सिफारिश करे, ये सही फैसला नहीं है, इसे तुरंत वापस लिया जाना चाहिये।
BCCI should immediately withdraw it's illegal decision.#BCCI_Promotes_Halal pic.twitter.com/JlhW3IeVYq
— Gaurav Goel (@goelgauravbjp) November 23, 2021