बिपिन रावत का आखिरी वीडियो लोगों को कर रहा भावुक, वीर सैनिकों को दे रहे थे ऐसा संदेश

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करीब एक मिनट 10 सेकेंड के इस वीडियो में बिपिन रावत ने कहा, स्वर्णिम विजय पर्व के मौके पर मैं सभी जवानों को हार्दिक बधाई देता हूं।

New Delhi, Dec 12 : देश के पहले सीडीएस बिपिन रावत और उनकी पत्नी मधुलिका रावत का शुक्रवार को अंतिम संस्कार हो गया, 8 दिसंबर को तमिलनाडु के कुन्नूर में हेलीकॉप्टर हादसे में बिपिन रावत समेत 13 लोगों की मौत हो गई थी, अब शहीद रावत का आखिरी वीडियो सामने आया है, ये वीडियो लोगों को भावुक कर रहा है, इस वीडियो में उन्होने वीर जवानों को स्वर्णिम विजय पर्व की बधाई दी है, ये वीडियो 7 दिसंबर को रिकॉर्ड किया गया था।

1 मिनट 10 सेकेंड का वीडियो
करीब एक मिनट 10 सेकेंड के इस वीडियो में बिपिन रावत ने कहा, स्वर्णिम विजय पर्व के मौके पर मैं सभी जवानों को हार्दिक बधाई देता हूं, Bipin rawat6 भारतीय सेना की 1971 की लड़ाई में जीत की 50वीं वर्षगांठ को हम विजय पर्व के तौर पर मना रहे हैं, मैं इस पावन पर्व पर सशस्त्र सेनाओं के वीर जवानों को याद करते हुए उनके बलिदान को श्रद्धांजलि अर्पित करता हूं।

आओ मिलकर मनाये विजय पर्व
बिपिन रावत ने लोगों से इस कार्यक्रम में शामिल होने की अपील की थी, वीडियो में उन्होने कहा, 12 से 14 दिसंबर तक इंडिया गेट पर विभिन्न तरह के कार्यक्रमों का आयोजन किया जा रहा है, bipin rawat5 ये बड़े ही सौभाग्य की बात है, कि विजय पर्व अमर जवान ज्योति की छांव में आयोजित किया जा रहा है, जो कि हमारे वीर शहीदों की याद में स्थापित की गई थी, हम सभी देशवासियों को इस विजय पर्व के जश्न में सम्मिलित होने के लिये आमंत्रित करते हैं, अपनी सेनाओं पर हैं हमें गर्व, आओ मिलकर मनायें विजय पर्व।

रक्षामंत्री ने किया याद
इससे पहले रविवार को दिल्ली के इंडिया गेट पर स्वर्णिम विजय पर्व का उद्घाटन किया गया, इस मौके पर राजनाथ सिंह ने कहा देश को जनरल रावत की कमी खल रही है, उन्होने कहा कि जनरल रावत के निधन से देश ने एक बहादुर सैनिक, योग्य सलाहकार और जिंदादिल इंसान को खोया है, आज मुझे उनकी कमी काफी अधिक महसूस हो रही है। rajnath राजनाथ ने कहा, 1971 में पूर्वी पाक की जनता को अन्याय और शोषण से मुक्ति दिलाना हमारे देश का राजधर्म भी था, राष्ट्रधर्म भी था, 1971 का युद्ध दुनिया के सबसे निर्णायक युद्धों में गिना जाएगा, ये युद्ध बताता है, कि मजहब के आधार पर हुआ भारत का विभाजन एक ऐतिहासिक गलती थी, पाक का जन्म एक मजहब के नाम पर हुआ लेकिन वो एक नहीं रह सका।