लखनऊ पहुंची यूक्रेन से प्रधानी चलाने वाली हरदोई की वैशाली यादव, सपा नेता की बेटी हूं…

vaishali yadav

एक निजी न्यूज चैनल से बात करते हुए वैशाली के पिता महेन्द्र यादव ने कहा, उनकी बेटी यूक्रेन से सकुशल वापस देश लौट चुकी है, अभी वो लखनऊ में है।

New Delhi, Mar 04 : यूक्रेन से प्रधानी चला रही हरदोई की वैशाली यादव शुक्रवार को लखनऊ स्थित अपने आवास पर पहुंच गई है, बुधवार रात 1 बजे रोमानिया से मुंबई तक उनकी फ्लाइट थी, लेकिन बर्फबारी होने की वजह से वैशाली नहीं आ सकी, जिसके बाद गुरुवार को वो रोमानिया से मुंबई पहुंची और फिर देर शाम मुंबई से लखनऊ अपने आवास पर पहुंच गई, वैशाली के पहुंचने के बाद घर वालों ने सुकून की सांस ली, वहीं से प्रधानी चलाने का मामला सामने आने के बाद जिला प्रशासन ने कार्रवाई करने की पूरी तैयारी कर ली है, रुस-यूक्रेन संकट के बीच वैशाली की वापसी के बाद जिला प्रशासन की ओर से कार्रवाई शुरु कर दी जाएगी।

पिता ने क्या कहा
एक निजी न्यूज चैनल से बात करते हुए वैशाली के पिता महेन्द्र यादव ने कहा, उनकी बेटी यूक्रेन से सकुशल वापस देश लौट चुकी है, अभी वो लखनऊ में है, साथ ही ये भी बताया कि वो वर्तमान में प्रधान है, साल में दो 2 उपस्थिति दर्ज कराना आवश्यक होता है, इसके लिये वो एक उपस्थिति दर्ज कराकर गई है, दूसरी के लिये अभी समय है, इस बीच जो भी कार्य पड़े वो डोंगल के द्वारा हुए जैसे अन्य प्रधानों के होते हैं, उनकी बेटी द्वारा ऐसा कोई काम नहीं किया गया है, जिससे उनकी बेटी की छवि खराब हो।

सोशल मीडिया पर ट्रोल
इससे पहले वैशाली के यूक्रेन से वीडियो जारी करने के बाद लोगों ने उन्हें ट्रोल करना शुरु कर दिया था, यहां तक कि बीजेपी विधायक ने बिना किसी पुष्टि के वैशाली के खिलाफ भ्रामक खबर फैला दी, russia ukraine जिसके बाद वैशाली ने एक वीडियो जारी कर तमाम ट्रोल करने वालों को नसीहत दी थी, दरअसल वैशाली यादव सांडी विकासखंड के तेरपुरसौली गांव की ग्राम प्रधान है, प्रधान चुने जाने के दौरान ही वो यूक्रेन के इवानो फ्रेंक्विस्क में मेडिकल यूनिवर्सिटी से एमबीबीएस की पढाई कर रही थी, चुनाव खत्म होने के बाद वो दोबारा यूक्रेन चली गई।

सपा नेता की बेटी हूं
रुस-यूक्रेन के बीच जारी युद्ध में जहां भारतीय भी वहां फंस गये हैं, तो अपनी बात वहां से वीडियो जारी कर कह रहे हैं, वैशाली ने भी वीडियो बनाया और वो वायरल हो गया, लेकिन उस पर लोग सपा नेता की बेटी होने के कारण सरकार की छवि धूमिल करने का आरोप लगाने लगे, इसके बाद तमाम तरह की भ्रामक खबरें और कार्रवाईयों के बारे में लिखा जाने लगा, जिसके बाद प्रशासन को सामने आना पड़ा, उसने इन खबरों का खंडन किया।