लव ट्राएंगल या कोई और बात? मधुबनी पत्रकार हत्याकांड की पूरी खबर, जानिये परदे के पीछे की कहानी

avinash

बुद्धिनाथ झा 9 नवंबर की रात लापता हो गये थे, लापता होने से 2 दिन पहले 7 नवंबर को अपनी फेसबुक वॉल पर एक पोस्ट लिखा था, बुद्धिनाथ ने नर्सिंग होम और अस्पताल संचालकों के खिलाफ अपनी मुहिम आगे बढाते हुए 7 नवंबर को अपनी फेसबुक पोस्ट में लिखा था।

New Delhi, Nov 15 : बिहार के मधुबनी जिले में युवा पत्रकार बुद्धिनाथ झा की हत्या का मामला अब बढता जा रहा है, पत्रकार की हत्या के मामले में परिजन नर्सिंग होम संचालकों पर शक जता रहे, तो वहीं पुलिस प्रेम प्रसंग में हुई वारदात बता रही है, इन सबके बीच बुद्धिनाथ झा की मौत के मामले में नया मोड़ आ गया है, ये नया मोड़ है, उनकी फेसबुक पोस्ट का।

9 नवंबर की रात लापता
बुद्धिनाथ झा 9 नवंबर की रात लापता हो गये थे, लापता होने से 2 दिन पहले 7 नवंबर को अपनी फेसबुक वॉल पर एक पोस्ट लिखा था, बुद्धिनाथ ने नर्सिंग होम और अस्पताल संचालकों के खिलाफ अपनी मुहिम आगे बढाते हुए 7 नवंबर को अपनी फेसबुक पोस्ट में लिखा था, कि द गेम विल रीस्टार्ट ऑन द डेट 15/11/21, बुद्धिनाथ के इस पोस्ट से ऐसा लगता है कि वो 15 नवंबर को नर्सिंग होम, अस्पताल संचालकों के खिलाफ कोई और खुलासा करने वाले थे, लेकिन उससे पहले ही वो लापता हो गये, उनकी हत्या कर दी गई। मधुबनी पुलिस ने मामले में एक महिला समेत 6 लोगों को गिरफ्तार किया है, पुलिस के अनुसार इस हत्याकांड के पीछे की वजह त्रिकोणीय प्रेम प्रसंग है। पुलिस ने मामले में पूर्ण कला देवी के साथ ही रोशन कुमार, बिट्टू कुमार, दीपक कुमार, पवन कुमार और मनीष कुमार को गिरफ्तार किया है। पुलिस के अनुसार पूर्ण कला देवी ने पूछताछ के दौरान कबूल किया है कि बुद्धिनाथ झा के साथ प्रेम करती थी, जबकि पवन कुमार पूर्णकला से एकतरफा प्यार करता था।

रोशन चलाता था जांच लैब
दूसरी ओर पुलिस के अनुसार एक और आरोपी रोशन बेनीपट्टी में जांच लैब चलाया करता था, उसका भी बुद्धिनाथ के साथ विवाद चल रहा था, Bihar-Journalist (1) बुद्धिनाथ लगातार उसे धमकी दे रहा था, पुलिस के अनुसार बुद्धिनाथ का खुद का जांच लैब का धंधा बंद हो चुका था, वो रोशन को लगातार धमकी दे रहा था, वो उसका लैब भी बंद करा देगा, पुलिस के अनुसार इसी कारण से पवन और रोशन ने व्यक्तिगत कारणों से बुद्धिनाथ को रास्ते से हटा दिया।

कौन थे बुद्धिनाथ झा
मधुबनी जिले के बेनीपट्टी निवासी 22 वर्षीय बुद्धिनाथ झा उर्फ अविनाश झा एक वेब पोर्टल में पत्रकार थे, साथ ही आरटीआई कार्यकर्ता भी थे, बुद्धिनाथ फर्जी नर्सिंग होम को लेकर लगातार खबरें कर रहे थे, उन्होने 15 नवंबर को कोई और खुलासा करने को लेकर फेसबुक पर पोस्ट किया था, फेसबुक पर पोस्ट करने के दो दिन बाद ही बुद्धिनाथ लापता हो गये, उनका शव 12 नवंबर को अधजली हालत में उड़न गांव में मिला, बुद्धिनाथ के परिजनों की मानें, तो वो 9 नवंबर की पात से ही लापता थे, पुलिस के हाथ जो सीसीटीवी फुटेज लगे है, उनमें भी वो रात 10 बजे के करीब फोन पर किसी से बात करते नजर आ रहे हैं। बताया जा रहा है कि 10 नवंबर को सुबह 9 बजे के बाद बुद्धिनाथ का मोबाइल बंद हो गया, जिसके बाद परिजनों ने बुद्धिनाथ के लापता होने की प्राथमिकी स्थानीय थाने में दज कराई, निजी नर्सिंग होम और अस्पताल संचालकों के खिलाफ हत्या का आरोप लगाया, 12 नवंबर को उसका अधजला शव मधुबनी जिले के उड़न गांव में मिला, बुद्धिनाथ के परिजनों ने उसके हाथ पर अंगूठी, गले में चेन और पैर के मस्से से उसकी पहचान की।

हत्या के पीछे नर्सिंग होम माफिया
जानकारी के अनुसार बुद्धिनाथ झा लगातार अपने वेब पोर्टल पर इलाके में चलने वाले फर्जी नर्सिंग होम, अस्पताल के बारे में खुलासा कर रहे थे, लोक शिकायत निवारण कानून तथा सूचना का अधिकार कानून का इस्तेमाल कर उन्होने इसी साल फरवरी में बेनीपट्टी और धकजरी में अवैध रुप से संचालित 19 जांच घर का खुलासा किया था, प्रशासन ने ये जांच घर बंद करा दिये थे, पिछले साल दिसंबर में भी बुद्धिनाथ की कोशिशों से 9 नर्सिंग होम और जांच घर बंद हुए थे।