ऑस्ट्रेलिया ने पहले बल्लेबाजी करते हुए 217 रनों का लक्ष्य दिया, जिसे टीम इंडिया ने सलामी बल्लेबाज मनजोत कालरा के शतक की मदद से आसानी से हासिल कर लिया।
New Delhi, Feb 03 : टीम इंडिया ने चौथी बार आईसीसी अंडर-19 विश्व कप का खिताब जीतकर इतिहास रच दिया है, आपको बता दें कि भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच न्यूजीलैंड के ओवल मैदान पर फाइनल मुकाबला खेला गया, ऑस्ट्रेलिया ने पहले बल्लेबाजी करते हुए 217 रनों का लक्ष्य दिया, जिसे भारत ने सलामी बल्लेबाज मनजोत कालरा के शतक की मदद से आसानी से हासिल कर लिया। गेंदबाजी में कमलेश नगरकोटी, अनुकूल रॉय और शिवा सिंह ने दो-दो विकेट हासिल किये।
ऑस्ट्रेलिया 216 पर ढेर
टॉस जीतकर बल्लेबाजी करने उतरी ऑस्ट्रेलिया की टीम 47.2 ओवरों में सिफ 216 रनों पर ढेर गई, शुरुआत में दो झटके खाने के बाद बीच के ओवरों में कंगारु टीम संङल गई थी, तब लग रहा था कि टीम इंडिया को 270 के करीब का लक्ष्य मिलेगा, लेकिन भारतीय गेंदबाजों ने गजब का प्रदर्शन करते हुए वापसी की, फिर कोई भी बल्लेबाज ज्यादा देर पिच पर नहीं टिक सकें।
भारत की अच्छी शुरुआत
जहां एक तरफ उस पिच पर कंगारु बल्लेबाज संघर्ष कर रहे थे, तो दूसरी तरफ भारत के सलामी बल्लेबाज पृथ्वी शॉ और मनजोत कालरा ने टीम को अच्छी शुरुआत करवाई, दोनों ने 9वें ओवर में टीम के स्कोर को 50 के पार कर दिया, फिर 12वें ओवर में सदरलैंड की गेंद पर पृथ्वी आउट हो गये, कप्तान 29 रन बनाकर पवेलियन लौटे।
बारिश ने डाला खलल
भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच खेले गये फाइनल मुकाबले में कुछ देर के बीच बारिश ने भी खलल डाली, हालांकि भारत को विश्व विजेता बनने से नहीं रोक सकी, कुछ देर बूंदा-बांदी के बाद दुबारा खेल शुरु हुआ, सलामी बल्लेबाज मनजोत कालरा बरसते रहे, उन्होने एक के बाद एक कंगारु गेंदबाजों की क्लास लगाई।
मनजोत का शतक
फाइनल मुकाबले में दिल्ली के सलामी बल्लेबाज मनजोत कालरा ने शानदार पारी खेली, उन्होने 101 गेंदों में नाबाद 102 रन बनाये, पूरे मैच में वो कंगारु गेंदबाजों पर हावी रहे, उन्होने मैदान के हर कोने में शॉट लगाये, शुबमन गिल 30 गेदों में 31 रन बनाकर बोल्ड हो गये।
कौन है मनजोत कालरा ?
अंडर-19 विश्व कप में भारतीय टीम में शामिल मनजोत दिल्ली के इकलौते खिलाड़ी हैं, उनके घर वालों के अनुसार उनका बेटा खेल-खेल में ही खिलाड़ी बन गया, मनजोत के माता-पिता चाहते थे कि उनका बेटा पढाई में कोई मुकाम हासिल करे, लेकिन वो अब क्रिकेट में अच्छा कर रहे हैं, तो घर वाले भी उनका पूरा साथ दे रहे हैं।
मां-बाप खुश
फाइनल में शतक लगाने के बाद मनजोत के मां-पिता गर्व से फूले नहीं समां रहे हैं, मनजोत कि मां रंजीत को अपने फैसले के गलत होने से काफी खुशी है, उन्होने बताया कि मनजोत पढाई में होशियार था, इसलिये वो लोग चाहते थे कि उनका बेटा पढाई पर ही ध्यान दे, उसका बड़ा भाई क्रिकेट खेलता था, वो चाहते थे कि बड़ा बेटा क्रिकेट में करियर बनाए, मनजोत अपने बड़े भाई के साथ मैदान पर अक्सर जाया करता था, जहां से क्रिकेट में उनकी दिलचस्पी बढी।
विवाद से हुए थे परेशान
पाक के खिलाफ सेमीफाइनल में भी मनजोत कालरा ने 47 रनों की महत्वपूर्ण पारी खेली थी, इस सलामी बल्लेबाज ने इस टूर्नामेंट में बेहतरीन प्रदर्शन किया है, वो रन बनाने के मामले में भारतीय खिलाड़ियों में स्टार बल्लेबाज शुबमन गिल और पृथ्वी शॉ के बाद तीसरे नंबर पर हैं।
मनजोत पर लगे थे आरोप
मनजोत कालरा को जब अंडर-19 टीम में शामिल किया गया था, तब बड़ा विवाद हुआ था, आरोप लगा था कि उनकी उम्र 19 साल से ज्यादा है, वो विश्व कप में हिस्सा नहीं ले सकते, हालांकि बाद में ये आरोप गलत साबित हुए, मनोजत की मां रंजीत ने कहा कि आरोपों से हम काफी आहत थे, मनजोत भी इस बात से परेशान था। हालांकि सारे टेस्ट फेल हुए, और उनका बेटा पास हुआ।