महान संगीतकार, जिन्होंने लता मंगेशकर से कभी गीत नहीं गवाया, वजह खास थी !

भारत के महान संगीतकार कहे जाने वाले ओपी नैयर साहब के बारे में तो आप जानते ही होंगे। उन्होंने अपनी जिंदगी में लता मंगेशकर से कभी गीत नहीं गवाया।

New Delhi, Jan 16: भारत के सफलतम संगीतकारों में से एक रहे हैं ओपी नैयर साहब। लेकिन इस महाने संगीतकार के बारे में कुछ ऐसी बातें हैं, जिन्हें जानकर आप हैरान रह जाएंगे। क्या आप जानते हैं कि ओपी नैयर साहब ने कभी भी लता मंगेशकर से गीत नहीं गवाया। ऐसा नहीं है कि लता जी से उनकी कोई अनबन थी, बल्कि वो तो लता जी को अपना रोल मॉडल मानते थे।

ऐसे थे ओपी नैयर
ओपी नैयर को बॉलीवुड में बेहद अनुशासित संगीतकार कहा जाता था।  वो ऐसे संगीतकार थे जिन्हें अपने काम में किसी की दखल अंदाजी बिल्कुल भी नहीं भाती थी। ओपी नैयर का जन्म 16 जनवरी 1926 को लाहौर में हुआ था। उनकी जोड़ी शमशाद बेगम के साथ सबसे ज्यादा सफल रही। शमशाद बेगम के साथ गाए उनके सारे गीत सुपरहित साबित हुए थे।

लता मंगेशकर से गीत नहीं गवाया
कभी आर कभी पार, कजरा मोहब्बत वाला, ले के पहला पहला प्यार, कहीं पे निगाहें कही पे निशाना जैसे गीत आज भी गाए जाते हैं। ओपी नैयर साहब अकेले ऐसे संगीतकार थे, जिन्होंने मौका होने के बाद लता जी से गाने नहीं गवाए। ये उस दौर की बात है, जब लता जी से गीत गवाने के लिए हर छोटा और बड़ा संगीतकार बेताब रहता था।

इसके पीछे ये थी वजह
ओपी नैयर कहते थे कि लता की आवाज उनके द्वारा बनाए गए संगीत के लिए उपयुक्त नहीं है। ये नैयर साहब की आदत थी। वो किसी भी बड़े स्टार के जलवे से प्रभावित नहीं होते थे। वो स्टार कलाकारों को अपने संगीत के लिए बेहद कम चुनते थे। एक और खास बात ये है कि उन्होंने देश के बड़े बड़े सुपरस्टार्स के लिए भी कभी अपना संगीत नहीं दिया।

बड़े स्टार्स के लिए नहीं दिया संगीत
अमिताभ बच्चन, राजेश खन्ना, संजीव कुमार धर्मेंद्र और शशि कपूर जैसे सितारों के लिए भी उन्होंने गीतों में संगीत नहीं दिया। इसके बाद भी उनके गीत लोगों के सिर चढ़कर बोलते थे। इसके अलावा उन्होंने बड़ी एक्ट्रेस के गीतों के लिए भी संगीत नहीं दिया। हेमा मालनी, जीनत अमान और राखी के लिए भी उन्होंने कभी कोई संगीत नहीं दिया।

तांगे की आवाज को बनाया ताकत
ओपी नैयर साहब के बारे में एक और खास बात है। उन्होंने अपने संगीत निर्देशन में तांगे की आवाज का बेहद ही शानदार तरीके से इस्तेेमाल किया था। वक्त आगे बड़ा तो ये ही आवाज उनके संगीत का सिग्नेचर मार्क बन गया।  कहा जाता है कि ओ पी नैयर बेहद ही रूखे स्वभाव के थे। एक बार तो महान गायक मोहम्मद रफी से ही उनकी अनबन हो गई।

मोहम्मद रफी को ऐसे हड़काया
मोहम्मद रफी अपने दौर के सम्मानित गायकों में से एक थे। लेकिन ओपी नैयर अपने आगे किसी भी बड़े सितारे को कुछ नहीं समझते थे। एक बार एक गीत की रिकॉर्डिंग होनी थी। इसके लिए मोहम्मद रफई को चुना गया था। मोहम्मद रफी देर से पहुंचे और ये बात ओपी नैयर को नहीं खली। इसके बाद ओपी नैयर ने दूसरे सिंगर को ही इस गीत के लिए चुन लिया।