रोहित शेट्टी ने The Quint पत्रकार को दिया करारा जवाब, लोग कर रहे खूब तारीफ

rohit shetty

हाल ही में रोहित शेट्टी की फिल्म सूर्यवंशी रिलीज हुई है, जो बॉक्स ऑफिस पर धमाल मचा रही है, फिल्म ने अब तक 160 करोड़ का कलेक्शन कर लिया है, जिसमें से 125 करोड़ से ज्यादा का कलेक्शन अकेले भारत से हुआ है।

New Delhi, Nov 16 : एक्शन फिल्ममेकर रोहित शेट्टी दो चीजों के लिये प्रसिद्ध हैं, अपनी फिल्मों में गाड़ियों को आसमानी सैर कराने तथा लॉजिक एवं ग्रेविटी पर अपनी फिल्मों के जरिये प्रश्नचिन्ह लगाने के लिये, लेकिन अब जल्द ही रोहित एक और चीज के लिये प्रसिद्ध होने वाले हैं, वो है बड़े ही शालीनता से वामपंथियों को उन्हीं के तर्कों से पटक-पटकर कर धोने के लिये, जी हां, हाल ही में रोहित शेट्टी ने वामपंथी पत्रकार अबीरा धार की जमकर क्लास लगाई है।

सूर्यवंशी का प्रमोशन
हाल ही में रोहित शेट्टी की फिल्म सूर्यवंशी रिलीज हुई है, जो बॉक्स ऑफिस पर धमाल मचा रही है, फिल्म ने अब तक 160 करोड़ का कलेक्शन कर लिया है, जिसमें से 125 करोड़ से ज्यादा का कलेक्शन अकेले भारत से हुआ है, लेकिन कुछ लोग ऐसे भी हैं, जो मोहल्ले की नकचढी आंटियों की तरह मुंह फुलाकर बैठे हैं, जितनी आपत्ति दक्षिणपंथियों को इस बात से नहीं है कि सूर्यवंशी में सेक्युलरिज्म की दुहाई दी गई है, उससे ज्यादा वामपंथियों को इस बात की मिर्ची लगी है कि आखिर रोहित ने मुसलमानों को विलेन बनाया तो बनाया कैसे, हिम्मत कैसे हो गई।

अबीरा धार को करारा जवाब
इस बात को लेकर द क्विंट की पत्रकार अबीरा धार ने फिल्ममेकर रोहित शेट्टी को घेरने की कोशिश की, उनसे पूछा कुछ लोगों ने इस बात पर आपत्ति जताई है कि इस फिल्म में कैसे मुसलमानों को दिखाया गया है, जिस तरह से फिल्म में अच्छे मुसलमान और बुरे मुसलमान को दिखाया गया है, जिस तरह से आपने आतंकवाद को दिखाया है, वो काफी चिंताजनक है। इस सवाल को बीच में ही काटते हुए रोहित ने उन्हीं के तर्क का इस्तेमाल करते हुए कहा, सिंघम में जयकांत शिकरे तो मराठी था, एक हिंदू, उसके सीक्वेल में एक हिंदू बाबा विलेन था, सिम्बा में भी दुर्वा रानाडे महाराष्ट्र का ब्राह्मण था, ये तीनों नकारात्मक शक्तियां हिंदू थी, तो आपको कोई समस्या नहीं हुई, तो अब क्यों।

आलोचना की चिंता नहीं करते रोहित
अपने आप को घिरता देख पत्रकार ने गोलमोल तर्क दिये, जिसके बाद रोहित शेट्टी ने एक कदम आगे बढाते हुए कहा, बात यही नहीं है, जब कोई आतंकी पाकिस्तान से आता है, तो क्या आप उसकी जात देखते हो, लेकिन कुछ पत्रकारों के मत पढने के बाद मेरे विचार अवश्य बदल चुके हैं, क्योंकि वो ब्रैकेट में बकायदा लिख कर कह रहे थे, कि ये देखो बुरे मुसलमानों को उच्च जाति के हिंदू नैतिकता के पाठ पढा रहे हैं, ये प्रवृत्ति गलत है। आपको बता दें कि रोहित शेट्टी उन फिल्ममेकरों में से एक हैं, जिन्होने ना क्रिटिक्स की आलोचना की चिंता की है, और ना ही जनता के तानों की।