कम ही लोगों को पता है कि कैराना से ताल्लुक रखने वाले बीजेपी नेता ने देश के लिये पाकिस्तान और चीन के खिलाफ युद्धों में बतौर आर्मी अधिकारी अपना योगदान दिया था।
New Delhi, May 27 : 28 मई को यूपी के कैराना में लोकसभा सीट के लिये उप-चुनाव होगा, यहां से सांसद रहे हुकुम सिंह का फरवरी में निधन हो गया, जिसकी वजह से इस सीट पर उपचुनाव आयोजित हो रहा है। बीजेपी के पूर्व सांसद हुकुम सिंह उन चुनिंदा नेताओं में शामिल हैं, जिन्होने आराम छोड़कर देश की सेवा के लिये अपनी जिंदगी लगा दी। कम ही लोगों को पता है कि कैराना से ताल्लुक रखने वाले बीजेपी नेता ने देश के लिये पाकिस्तान और चीन के खिलाफ युद्धों में बतौर आर्मी अधिकारी अपना योगदान दिया था।
जज बनने के बाद चुनी थी आर्मी की राह
5 अप्रैल 1938 को यूपी के कैराना में पैदा हुए हुकुम सिंह ने साल 1958 में इलाहाबाद यूनिवर्सिटी से लॉ की डिग्री हासिल की थी। लॉयर बनने के बाद ही उन्होने सिविल जज बनने की तैयारी भी शुरु कर दी थी। बाद साल बाद 1963 में उन्होने पीसीएस-जे का एग्जाम क्रेक कर दिया। लेकिन परीक्षा का परिणाम आने से पहले ही उन्होने भारतीय सेना ज्वाइन कर लिया था।
युद्ध में लिया हिस्सा
भारतीय सेना ज्वाइन करने के बाद बतौर कमीशन्ड ऑफिसर साल 1962 में हुए इंडो- चाइना वॉर में वो शामिल हुए थे, युद्ध खत्म होने के बाद पीसीएस-जे का रिजल्ट आया था, जिसमें वो सफल हो गये थे, अगर वो चाहते तो बतौर सिविल जज आराम की नौकरी चुन सकते थे, लेकिन उन्होने भारतीय सेना में ही अपने करियर को जारी रखना बेहतर समझा।
पाक से युद्ध के बाद ली थी रिटायरमेंट
साल 1965 में पाकिस्तान के खिलाफ हुए युद्ध में वो बतौर कैप्टन कश्मीर के पुंछ और राजौरी में तैनात थे। साल 1969 में उन्होने भारतीय फौज से रिटायरमेंट ले ली थी, उसके बाद वो मुजफ्फफनगर कोर्ट में लॉ प्रैक्टिस करने थे। साल 1974 में वो राजनीति में एक्टिव हुए, उसके बाद फिर आखिरी सांस पर राजनीति के माध्यम से देश और समाज की सेवा करते रहे।
कांग्रेस से जुड़ें
कैराना के पूर्व सांसद हुकुम सिंह ने साल 1974 में राजनीति में सक्रिय हुए, उन्होने सबसे पहले कांग्रेस ज्वाइन की, हालांकि कुछ साल बाद उन्होने कांग्रेस छोड़ दिया। साल 1996 में वो भारतीय जनता पार्टी के सदस्य बने। भले हुकुम सिंह ने पार्टी बदली हो, लेकिन जनता के बीच उनकी छवि साफ -सुथरी थी, उन्हें समाज के हित के लिये काम करने वाला नेता माना जाता था।
7 बार विधायक
हुकुम सिंह 7 बार विधायक रहे। साल 2014 में बीजेपी ने उन्हें कैराना से लोकसभा टिकट दिया, जीतकर वो लोकसभा पहुंचे। इससे पहले भी उन्हें इस क्षेत्र से लोकसभा का टिकट मिला था, लेकिन पिछली बार उन्हें हार का सामना करना पड़ा। इस बार वो लोकसभा में अपना कार्यकाल पूरा नहीं कर सके, फरवरी 2018 में उनका निधन हो गया।
इतनी संपत्ति के हैं मालिक
2014 लोकसभा चुनाव में दिये गये एफिडेविट के अनुसार हुकुम सिंह 2.9 करोड़ रुपये की संपत्ति के मालिक थे। उन्होने मुजफ्फरनगर की गांधी कॉलोनी में अपने पैतृक मकान के पास ही साल 2004 में एक बंगला खरीदा था, जिसकी कीमत करीब 21.5 लाख रुपये थी। इसके अलावा उनके पास दो बोलेरो कारें थीं, जिसकी कंबाइन्ड कीमत करीब दस लाख रुपये थी।